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उत्तराखंड में मुख्य मार्गों पर रैलियों और जुलूसों पर प्रतिबंध, जाम की समस्या को देखते हुए पुलिस ने लिया फैसला
देहरादून: उत्तराखंड की पांचों लोकसभा सीटों पर 19 अप्रैल को मतदान होना है. वहीं आज 27 मार्च को नामांकन की आखिरी तारीख है. नामांकन करने बाद राजनीति पार्टियां और प्रत्याशी चुनाव प्रचार-प्रसार में जोर शोर से जुट जाएंगे. इस दौरान बडे़-बड़े नेता शहरों में रैली करने के साथ ही रोड शो भी करेंगे, जिससे आम जनता को काफी दिक्कतों को सामना करना पड़ता है. क्योंकि इस दौरान शहर की ट्रैफिक व्यवस्था पूरी तरह के चरमरा जाती है. इसीलिए इस बार पुलिस ने निर्णय लिया है कि सभी जिलों में यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए मुख्य मार्गों पर रैलियों और जुलूसों पर प्रतिबंध लगाया जाएगा.
चुनाव प्रचार के दौरान जाम की समस्या से आम आदमी को होने वाली परेशानी को देखते हुए पुलिस ने इस बार कुछ कदम उठाए हैं. उसी के बारे में जानकारी देते हुए उत्तराखंड के डीजीपी अभिनव कुमार ने बताया कि सभी जिलों की यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए मुख्य मार्गों पर रैलियों और जुलूसों पर प्रतिबंध लगाया जाएगा और ट्रैफिक जाम से बचने के लिए सभी निजी स्कूलों के अंदर वाहन पार्क किए जाएंगे. सभी व्यावसायिक या आवासीय भवनों को खोलने के निर्देश दिए गए हैं, जिनके नक्शे में बेसमेंट पार्किंग वाले कॉम्प्लेक्स हैं.
अक्सर देखने में आता है कि चुनाव प्रचार के दौरान शहर का ट्रैफिक जाम हो जाता है, जिसका खामियाजा आम जनता को भुगतना पड़ा. कई बार तो स्थिति इतनी खराब तक हो जाती है कि लोग घंटों जाम में खड़े रहते हैं. खास कर स्कूलों की छुट्टी के समय तो हालात और विकट हो जाते हैं. हालांकि इस बार ऐसी स्थिति न बने, इसको लेकर पुलिस ने कुछ खास प्लान तैयार किया है.
उत्तराखंड पुलिस का कहना है कि इस बार प्रयास किया गया है कि आम लोगों को कम से कम दिक्कतों का सामना करना पड़े. इसके लिए सबसे पहले मुख्य मार्गों पर रैलियों और जुलूसों पर प्रतिबंध लगाया गया है, ताकि शहर के मुख्य मार्गों पर ट्रैफिक जाम न हो. इसी के साथ कुछ अन्य कदम भी उठाए गए हैं.