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परिवहन विभाग की ताबड़तोड़ छापेमारी से हड़कंप, चालकों ने लगाए उत्पीड़न के आरोप
मीनाक्षी
हल्द्वानी। परिवहन विभाग द्वारा शहर में 19 टीमों के साथ की गई सघन छापेमारी ने वाहन चालकों और आम जनता में खलबली मचा दी। इस कार्रवाई के दौरान 50 से अधिक गाड़ियों को नियमों के उल्लंघन का हवाला देते हुए आरटीओ कार्यालय ले जाया गया और उनके खिलाफ कार्रवाई की गई। हालांकि, विभाग की इस कार्रवाई को लेकर वाहन चालकों ने कड़ी आपत्ति जताई है। कई चालकों ने आरोप लगाया कि बिना किसी कारण उन्हें गाड़ियों समेत उठाकर आरटीओ कार्यालय ले जाया गया। कुछ ने कहा कि उनकी गाड़ियां खाली थीं, फिर भी चालान किया गया। यात्रियों और राहगीरों को भी इस कार्रवाई से परेशानी झेलनी पड़ी।गाड़ियों के चालकों ने आरटीओ प्रशासन पर दबंगई और मनमाने तरीके से जुर्माने लगाने के आरोप लगाए। एक चालक ने कहा, “घर से बाहर निकलते ही जबरन पकड़ लिया गया,” तो दूसरे ने दावा किया कि उनकी खाली गाड़ी होने के बावजूद चालान किया गया। वहीं, आरटीओ संदीप सैनी ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि यह कार्रवाई यातायात नियमों के उल्लंघन और अनावश्यक पार्किंग के खिलाफ थी। उन्होंने बताया कि शहर के अलग-अलग इलाकों में 19 टीमों को भेजा गया था, जिन्होंने 50 से अधिक वाहनों को नियम तोड़ते हुए पाया। उन्होंने स्पष्ट किया कि यातायात नियमों का पालन सुनिश्चित करने के लिए यह कदम उठाया गया है।
आरटीओ ने यह भी कहा कि परिवहन और यातायात नियमों का पालन अब अनिवार्य होगा, और नियम तोड़ने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी रहेगी। इस कार्रवाई के बाद शहर में वाहन चालकों के बीच नाराजगी और असमंजस की स्थिति बनी हुई है। लोग इसे लेकर आरटीओ प्रशासन पर सवाल उठा रहे हैं, जबकि विभाग इसे यातायात व्यवस्था सुधारने की दिशा में उठाया गया आवश्यक कदम बता रहा है।