उत्तराखण्ड
बालकनाथ मंदिर में भीड़ का उठाया फायदा, महिला श्रद्धालुओं के गहने उड़ाने वाले गिरोह का पर्दाफाश
नैनीताल जिले के मुखानी थाना क्षेत्र में श्रद्धालुओं की भीड़ का फायदा उठाकर चैन और मंगलसूत्र चोरी करने वाले एक गिरोह का पुलिस ने भंडाफोड़ किया है। पकड़े गए आरोपियों में एक पति-पत्नी भी शामिल हैं, जो इससे पहले भी चैन स्नैचिंग के मामले में जेल जा चुके हैं। पुलिस ने गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार करते हुए चोरी किए गए जेवरात और एक स्विफ्ट कार बरामद की है। आरोपियों का एक साथी अभी फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है।
यह पूरा मामला 20 मई का है, जब विला प्रियदर्शनी विहार विठौरिया की रहने वाली बसंती देवी ने थाने में शिकायत दी थी कि कुछ अज्ञात महिलाओं ने उनका सोने की चेन और कुछ अन्य महिलाओं के गले से मंगलसूत्र चोरी कर लिए। शिकायत दर्ज होने के बाद मुखानी थाने में एफआईआर दर्ज की गई और जांच की जिम्मेदारी लामाचौड़ चौकी प्रभारी मनोज अधिकारी को सौंपी गई।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रह्लाद नारायण मीणा के निर्देश पर मामले की जांच के लिए एक विशेष टीम गठित की गई। एसपी सिटी प्रकाश चंद्र और सीओ हल्द्वानी नितिन लोहनी की निगरानी में बनाई गई टीम ने थानाध्यक्ष दिनेश जोशी और एसओजी प्रभारी संजीत राठौर के नेतृत्व में पूरे इलाके में जांच शुरू की। सीसीटीवी फुटेज खंगालने पर तीन संदिग्ध महिलाएं और एक कार (DL 01 ZC 9704) सामने आई, जिसके बाद टीम ने संभावित स्थानों पर छापेमारी शुरू की।
22 मई को गुसाईपुर तिराहे के पास पुलिस टीम ने घेराबंदी कर तीनों आरोपियों को दबोच लिया। उनके पास से चोरी की गई दो सोने की चैन और एक मंगलसूत्र बरामद किया गया। पकड़े गए लोगों में मयूरी और सुशील कुमार पति-पत्नी हैं, जबकि तीसरी महिला संतोष बताई गई है। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वे कैचीधाम घूमने आए थे और ऑनलाइन जानकारी मिलने के बाद ऊंचापुल बालकनाथ मंदिर पहुंचे, जहां भारी भीड़ देखकर मौका पाकर चोरी को अंजाम दिया और फरार हो गए।
इस गिरोह की एक महिला सदस्य भावना अब भी फरार है। पुलिस उसकी गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दे रही है। फिलहाल पकड़े गए तीनों आरोपी दिल्ली के पूर्वी इलाके कल्याणपुरी के रहने वाले हैं और पहले भी हिमाचल के कालाअंब थाने में चैन स्नैचिंग के मामले में जेल जा चुके हैं।
एसएसपी नैनीताल प्रह्लाद मीणा ने इस सफल कार्रवाई के लिए पुलिस टीम को ढाई हजार रुपये इनाम देने की घोषणा की है। पुलिस अब यह भी जांच कर रही है कि कहीं यह गिरोह अन्य जिलों में भी वारदातों को अंजाम तो नहीं दे चुका।
इस पूरे अभियान में एसओजी और मुखानी थाना पुलिस की भूमिका सराहनीय रही, जिन्होंने त्वरित कार्रवाई करते हुए एक सक्रिय गिरोह को सलाखों के पीछे पहुंचा दिया।
















