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कुमाऊँ

बदहाल स्वास्थ सेवा के कारण हुई डीआरडीओ वैज्ञानिक के पत्नी की मौत

पिथौरागढ़। बदहाल स्वास्थ्य सेवाओं की वजह से एक महिला की प्रसव के दौरान मौत हो गई। बता दे कि इलाज के अभाव में डीआरडीओ वैज्ञानिक की पत्नी ने बच्चे को जन्म देने के बाद दम तोड़ दिया। जिला मुख्यालय के करीब नैनी सैनी निवासी नीरज सिंह महर डीआरडीओ देहरादून में वैज्ञानिक हैं। बीते सोमवार 23 अगस्त को उन्होंने प्रसव पीड़िता पत्नी काव्या को जिला महिला अस्पताल में भर्ती कराया। जहां ऑपरेशन के बाद काव्या ने एक स्वस्थ बच्ची को जन्म दिया लेकिन डिलीवरी के कुछ देर बाद ही उसकी तबियत बिगड़ गयी। शाम 5 बजे के करीब चिकित्सकों ने उसे हल्द्वानी रेफर कर दिया, लेकिन हल्द्वानी पहुंचने से पहले ही दन्या के पास 24 वर्षीय काव्या ने दम तोड़ दिया।

काव्या की मौत से घर में कोहराम मच गया।पूर्व विधायक मयूख महर ने बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्थाओं के लिए प्रदेश की सरकार और स्वास्थ्य विभाग को जिम्मेदार ठहराया।वहीं इस मामले को लेकर जिला अस्पताल पिथौरागढ़ के पीएमएस डॉ. केसी भट्ट ने कहा कि गर्भवती का सोमवार सुबह जिला अस्पताल में प्रसव हुआ लेकिन उसका यूरीन आउटपुट बंद होने के बाद किडनी ने काम करना बंद कर दिया। नेफ्रोलॉजिस्ट का इंतजाम न होने पर सर्जन एवं अन्य चिकित्सकों की सलाह पर महिला को हायर सेंटर रेफर करना पड़ा, लेकिन रास्ते में ही उसकी मौत हो गई।देवायल अस्पताल के प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉ. सौरभ ने बताया था कि 24 वर्षीय मंजू के पेट में जुड़वा बच्चे थे। प्रसव के निर्धारित समय से पहले उसकी तबियत बिगड़ गई थी। इस कारण उसको हायर सेंटर रेफर किया गया था।

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