उत्तराखण्ड
जानिये रामनगर में कौन सा त्यौहार मनाया जा रहा जिसकी कोई नहीं कर सकता कल्पना
रामनगर। यहां पर एक ऐसा त्योहार मनाया जाता है, जिसकी आपने कभी कल्पना भी नहीं की होगी। यहां तितली त्यार मनाया जाता है। इसके तहत तितलियों के अद्भुत संसार को बचाने के लिए मुहिम चालाई जा रहा है। तितली त्यार की परिकल्पना 2020 में रामनगर में तितली पर्यटन विकसित करने और कॉर्बेट में स्थानीय समुदाय और पर्यटकों के बीच इन कीमती कृतियों के बारे में जागरूकता के उद्देश्य से अलाया रिसोर्ट में की गई थी।इस बार फिर तितली त्यार का आयोजन त्यार फाउंडेशन की ओर से किया जा रहा है। 17 सितंबर से 2 अक्टूबर तय चलने वाले इस तितली त्यार को कॉर्बेट लैंडस्केप के आसपास के विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रो में आयोजित किया जा रहा है।
इस अवसर पर तितली अवलोकन के अतिरिक्त बिग बटाफ्लाई मंथ के चलते कॉर्बेट क्षेत्र में तितलियों की गणना त्यार फाउंडेशन के सहयोग से संस्था करेगी।कार्यक्रम में विशेष अथिति के रूप में सांसद प्रतिनधि इंदर सिंह रावत, ब्लॉक प्रमुख रेखा रावत, प्रभागीय वनाधिकारी तराई पश्चिम वन प्रभाग बलवंत सिंह शाही, होटल एसोसिएशन अध्यक्ष हरि सिंह मान, प्रेरित अग्रवाल ने बटरफ्लाई वाक का आनंद लिया। इनके सम्मान में अलाया रिसोर्ट के जीएम पंकज मैथानी द्वारा पुष्प गुच्छ दिया गया। इन सब ने कार्यक्रम को सराहा और इस कार्यक्रम में भरपूर सहयोग देने का वादा किया और कार्यक्रम की सफलता की कामना की। क्यारी गांव से दीप चंद्र सती, राकेश शर्मा, योगी बोहरा, ध्यान सिंह रावत एवं क्यारी गांव के बच्चो ने भी बटरफ्लाई वाक का आनंद लिया। इस साल भी तितली त्यार की मेजबानी करने में अलाया रिसोर्ट के ऑनर नवनीत धीराज और गौरव धीराज को गर्व है।
मूल सदस्यों में से एक मनीष कुमार, जिन्होंने पूरे भारत में जंगल के क्षेत्र में अनुभवात्मक आतिथ्य में क्रांति लाने के लिए अपना करियर समर्पित किया है। यह त्यौहार उत्साही लोगों के लिए तितलियों की अनोखी दुनिया को खोलेगा। सौरव भट्टाचार्य ने कहा कि तितली त्यार तितलियों या छोटे प्रजातियों का प्रकृति में महत्व को उजागर करने का एक प्रयास है।ओडिन टूर्स के मुकुल आज़ाद का विचार है कि तितली त्यार के माध्यम के द्वारा कोरोना महामारी को देखते हुए टूरिज्म से आधारित एक एडिशनल ऑपर्चुनिटी मिलेगी जिससे सारे स्टाक होल्डर्स, नेचर गाइड्स को पूरे साल में रोजगार के नए अवसर मिलेंगे। इसके अलावा तितलियों के प्रति जागरूक करने के लिए साईकल रैली, जैविक खाद उत्पादन, सीड् बॉम्बिंग, फोटोग्राफी कांटेस्ट, विलेज वाक, तितली मिलिउ गोष्टी, नुक्कड़ नाटक एवं स्लाइड शो/फ़िल्म प्रदर्शन आदि क्यारी, ढेला, रिंगोड़ा, ढिकुली, कालाढूंगी व पंगोट में किया जाएगा।
कार्यक्रम को त्यार फाउंडेशन के अतिरिक्त उत्तराखंड पर्यटन, इंडिया टूरिज्म, आज़ादी का अमृत महोत्सव, बीएनएचएस, कल्पतरु व्रक्ष मित्र समिति, केनन इंडिया, किष्किंधा विला, कॉर्बेट वाइल्ड-वेंचर्स, कॉर्बेट ग्राम विकास समिति, अलाया रिसोर्ट, पगमार्क्स सफारी एंड टूर्स, ईट्रूपेर्स, उत्तराखंड ओडिसी टूर्स, ओडिन टूर्स, स्पैरो नेस्ट व रेंजर्स लॉज द्वारा समर्थित है।कार्यक्रम में अभिनय ग्रुप के द्वारा तितलियों के संरक्षण में नाट्य प्रस्तुति दी गई, अलग अलग क्षेत्रों से आये विशेषज्ञों द्वारा तितली वाक (बटरफ्लाई वाक) कराई गई। कॉर्बेट में काम करने वाले नेचर गाइडस ने भी इसमें जोर शोर से प्रतिभाग किया। क्षेत्र में विशेषज्ञ द्वारा जिनमें बीएनएचएस के सोहैल मदान, संजय छिमवाल, गौरव खुल्बे, नाज़नीन सिद्दीकी, गीता यादव, संभव जैन, रोहन बेहल, हरशूल, जितेंद्र कुमार, अभिमन्यु वर्मा, सबरी शरण वेंकटेश, इमरान खान, रमेश सुयाल, विनोद बुधानी आदि तितलियों के जीवन चक्र के रहस्यों को उजागर करने के लिए सहायक व महत्वपूर्ण जानकारियां दी गयी

