उत्तराखण्ड
द्वाली में फसे पर्यटकों का रेस्क्यूअभियान
बागेश्वर। पिंडर घाटी के द्वाली में फसे 42 देशी और विदेशी पर्यटकों को रेस्क्यू कर लिया गया है। लगभग 15 बंगाली पर्यटकों को पांच टैक्सियों के जरिए कपकोट लाया गया। जहां उनके नाम, पता आदि की जानकारी जुटाने के बाद सभी पर्यटकों का मेडिकल परीक्षण किया गया। वहीं सुंदरढूंगा घाटी में सर्च अभियान चलाया गया है। सुंदरढूंगा घाटी में पांच पर्यटकों की बर्फबारी की वजह से मौत हो गई है तथा एक अन्य लापता है।
कोरोना काल में छूट मिलने के बाद से पिंडर घाटी में, पिंडारी ग्लेशियर के साथ ही सुंदरढूंगा घाटी के दीदार के लिए पर्यटकों की आवाजाही बढ़ गई। इस बीच 18 अक्टूबर को मौसम का मिजाज बदलने से पिंडर घाटी के द्वाली में पिंडर तथा कफनी नदी पर बने अस्थाई पुल बाढ़ में बह जाने से यहां 42 पर्यटक फस गए। इसके साथ ही सुंदरढूंगा घाटी में ‘कनकटा पास’ अभियान पर निकला एक दल भी देवी कुंड से आगे बर्फबारी की चपेट में आ गया। अत्यधिक बर्फबारी होने पर इस दल ने अपना ‘कनकटा पास’ अभियान को छोड़कर वापस लौटना शुरू किया, लेकिन रास्ता भटकने से पांच पर्यटकों की ठंड से मौत हो गई तथा एक अन्य लापता हो गया। इस दल के साथ गए पोर्टर ने खाती गांव आकर आपबीती बताई तो प्रशासन हरकत में आया और हैलीकाप्टर से रेस्क्यू अभियान चलाकर द्वाली में फसे 42 पर्यटकों को सुरक्षित बचा लिया। वहीं सुंदरढूंगा घाटी में पर्यटकों की तलाश में गए हैलीकाप्टर को मौसम खराब होने की वजह से वापस लौटना पड़ा। यहां अभी एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के साथ वन विभाग की टीम पैदल रेस्क्यू के लिए निकले हैं, लेकिन अभी तक वो भी हादसे वाली जगह पर नहीं पहुंच सके हैं।
वहीं पिंडारी ग्लेशियर गए विदेशी पर्यटकों ने द्वाली से सकुशल आने पर प्रशासन के रेस्क्यू अभियान को सराहा। वहीं जिलाधिकारी विनीत कुमार ने बताया कि कफनी ग्लेशियर तरफ झूनी और खल्झूनी गांव के भेड़-बकरी पालक गए थे। जिनकी संख्या अब बढ़कर 25 पहुंच गई है। वह सभी सुरक्षित हैं। उन्हें पखुवा टॉप पर लाया जा रहा है। वह यहां अपने मवेशियों के साथ लगभग अभी तीन माह तक रहेंगे। उन्होंने कहा कि सुंदरढूंगा घाटी में पर्यटकों को खोजने का रेस्क्यू अभियान जारी रहेगा।
भाजयुमो के प्रदेश उपाध्यक्ष सुरेश गड़िया ने बताया कि राज्य सरकार पर्यटकों की सुरक्षा को लेकर संवेदनशील है। पिंडरघाटी में फसे पर्यटकों का रेस्क्यू कर लिया गया है तथा सुंदरढूंगा घाटी में रेस्क्यू जारी है।
-केशव भट्ट, वरिष्ठ पत्रकार