उत्तराखण्ड
उत्तराखंड में विधायकों और पूर्व विधायकों की पेंशन व सुविधाओं में बढ़ोतरी
उत्तराखंड सरकार ने विधायकों की सुविधाओं और पूर्व विधायकों की पेंशन बढ़ाने का निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में सचिवालय में हुई कैबिनेट बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। इसके तहत पूर्व विधायकों की पेंशन 40 हजार रुपये से बढ़ाकर 60 हजार रुपये कर दी गई है। इसके अलावा, यदि कोई पूर्व विधायक पुनः निर्वाचित होता है तो उसे पेंशन में प्रतिवर्ष पांच हजार रुपये का अतिरिक्त लाभ मिलेगा।
कैबिनेट बैठक में कुल 31 प्रस्तावों को मंजूरी दी गई, जिनमें परिवहन विभाग में एआरटीओ के 10 पद सृजित करने, राज्य सेक्टर की मौन पालन योजना के तहत सब्सिडी बढ़ाने, सेब की अति सघन बागवानी योजना में सब्सिडी के तीन चरणों को मंजूरी देने, और चीनी मिलों के किसानों के बकाया भुगतान के लिए 388 करोड़ रुपये की गारंटी देने जैसे महत्वपूर्ण फैसले शामिल हैं।
इसके अलावा, विधायकों को अब पूरे कार्यकाल में एक बार 25 हजार रुपये तक का मोबाइल फोन मिलेगा, जो पहले केवल 8 हजार रुपये का मिलता था। यात्रा भत्ता बढ़ाकर अब चार रुपये प्रति किलोमीटर कर दिया गया है, जबकि पूर्व विधायकों के लिए पेट्रोल-डीजल भत्ता 22,500 रुपये से बढ़ाकर 26,000 रुपये प्रतिमाह कर दिया गया है।
विधायकों को लेखन सामग्री के लिए अब 20 हजार रुपये प्रतिमाह दिए जाएंगे। पहले विधानसभा की ओर से 100 लेटरहेड और 100 लिफाफे ही उपलब्ध कराए जाते थे। रेलवे कूपन की सुविधा में भी बदलाव किया गया है, अब यदि कोई विधायक इनका उपयोग नहीं कर पाता तो उसे इसकी नकद राशि दी जाएगी।
गैरसैंण में हुए विधानसभा सत्र में विधायकों के वेतन-भत्तों में पहले ही बढ़ोतरी की गई थी, जिसके बाद पूर्व विधायकों ने भी पेंशन और सुविधाओं में वृद्धि की मांग की थी। अब कैबिनेट ने इस मांग को स्वीकार करते हुए उनकी पेंशन और सुविधाओं में बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है।



